भारत वर्ष में और सनातन धर्म में प्रश्न करना कोई गलत बात नहीं है, बल्कि उसे सत्य और ज्ञान की परीक्षा का रूप दिया गया है।
प्रश्न करना गलत नहीं है, गलत है अंध-विश्वास, गलत है ज्ञान ना होना, गलत है बिना प्रश्न के गलत राह पे चलना, क्यूंकि बाकी सब भी वही कर रहे हैं।
इसी विचार से प्रेरित हो के मैंने यह कविता लिखी है। आशा करता हूँ आपको पसंद आएगी।
What all thoughts would cross your mind if you came to know that today is your last day? What would you do?
Recently visited an old-age home with my father. It taught a lot to me. I've written about my experience and what you car learn from it.
If it is solving your problems, helping you in gaining back your mental health, keeping you and your loved ones happy, it is OKAY to EXIT!